आईजी अरविन्द कुमार सक्सेना की शिवपुरी में अपराध समीक्षा बैठक थाना प्रभारियों को महत्वपूर्ण दिशा-निर्देश दिए



ग्वालियर जोन के पुलिस महानिरीक्षक अरविन्द कुमार सक्सेना द्वारा आयोजित अपराध समीक्षा बैठक में क्षेत्र में अपराधों की रोकथाम हेतु कई महत्वपूर्ण दिशा-निर्देश दिए गए हैं। इस बैठक में उपस्थित पुलिस अधीक्षकों और थाना प्रभारीयों को निर्देशित किया गया कि वे अपनी जिम्मेदारियों को प्रभावी तरीके से निभाएं। 

महानिरीक्षक महोदय द्वारा दिए गए प्रमुख निर्देशों में शामिल हैं:

1. बीट एवं माइक्रो बीट प्रणाली का कार्यान्वयन: सभी थाना प्रभारी अपने क्षेत्रों में इस प्रणाली को सफलतापूर्वक लागू करें ताकि अपराधों की रोकथाम संभव हो सके।
   
2. जप्त वाहनों का निस्तारण: थानों में जप्त वाहनों को जल्दी निकालने की प्रक्रिया को तेज किया जाए।

3. सुरक्षा हेतु सीसीटीवी कैमरे: व्यवसायियों को अपने प्रतिष्ठानों में सीसीटीवी कैमरे लगाने के लिए प्रेरित किया जाए।

4. गुड सेमेरिटन योजना: घातक दुर्घटनाओं में पीड़ितों को मदद पहुंचाने वाले लोगों को पुरस्कृत करने की प्रक्रिया सुनिश्चित करें।

5. त्योहारों की निगरानी: खासकर होली और रंगपंचमी के दौरान क्षेत्र में सुरक्षा व्यवस्था को मजबूत किया जाए।

6. फरियादियों के साथ व्यवहार: थाने में आने वाले लोगों के साथ सहानुभूति और अच्छे व्यवहार किया जाए तथा उनकी समस्याओं का समाधान किया जाए।

7. गंभीर अपराधों में कार्रवाई: चिन्हित अपराधों में त्वरित एवं प्रभावी कार्रवाई की जाए।

8. लंबित मामलों का निस्तारण: लंबित अपराधों और मर्गों का समय पर समाधान किया जाए।

9. एसीएसटी मामलों का त्वरित समाधान: एसीएसटी मामलों में राहत राशि का शीघ्र निस्तारण किया जाए।

10. महिला सुरक्षा: महिला संबंधी अपराधों में त्वरित पुलिस सहायता उपलब्ध कराई जाए।

11. अवैध गतिविधियों पर कार्रवाई: स्मैक, गांजा, जुआ और सट्टा जैसी अवैध गतिविधियों पर कड़ी कार्रवाई की जाए।

12. असामाजिक तत्वों पर निगरानी: शांति व्यवस्था बनाए रखने के लिए असामाजिक तत्वों के खिलाफ कदम उठाए जाएं।

13. नाबालिक बच्चों की सुरक्षा:*ऑपरेशन मुस्कान के तहत नाबालिक बच्चों की दस्तयाबी को सुनिश्चित किया जाए।

14. जनसुनवाई और सी.एम. हेल्पलाइन: शिकायतों का गंभीरता से निस्तारण किया जाए।

15. अपराधियों की संपत्ति अटैच करें: भारतीय नागरिक सुरक्षा संहिता की धारा 107 के तहत अपराधियों की संपत्तियों को न्यायालय के माध्यम से अटैच किया जाए।

16. आदतन अपराधियों की जमानत निरस्तीकरण: ईसकी प्रक्रिया को सुनिश्चित किया जाए।

17. हिस्ट्रीशीटर और गुंडा-बदमाशों की चेकिंग: समय-समय पर इनकी चेकिंग की जाए।

18. स्कूलों के आसपास पुलिस की गश्त: स्कूल और कोचिंग संस्थानों के निकट पुलिस द्वारा प्रतिदिन निगरानी रखी जाए।

19. साइबर अपराधों की जागरूकता: साइबर अपराधों के प्रति जनता को जागरूक करने हेतु कार्यक्रम आयोजित किए जाएं।

इन दिशा-निर्देशों के माध्यम से पुलिस प्रशासन को और अधिक संगठित और प्रभावी बनाने का प्रयास किया जा रहा है, जिससे अपराधों पर नियंत्रण पाया जा सके और नागरिकों की सुरक्षा सुनिश्चित हो सके।